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ek khalal Hindi poetry on sentiments

एक खलल हिंदी कविता सारांश - जीवन किसी का भी मुकम्मल नहीं है चाहे वो राजा हो या रंकl हर किसी की ज़िन्दगी में कुछ न कुछ कमी /खलिश है और वो खलिश हमेशा...

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